“गोवा नाइट क्लब अग्निकांड: लूथरा ब्रदर्स की भारत वापसी में देरी”
उत्तरी गोवा नाइट क्लब अग्निकांड: लूथरा ब्रदर्स फुकेट में हिरासत में, दिल्ली कोर्ट ने अग्रिम जमानत खारिज की
उत्तरी गोवा के बर्च बाय रोमियो लेन नाइट क्लब अग्निकांड के मुख्य आरोपी और क्लब मालिक गौरव और सौरभ लूथरा फिलहाल थाईलैंड के फुकेट इमिग्रेशन कंट्रोल सेंटर में हिरासत में हैं। हाल ही में उनके साथ की गई एक तस्वीर सामने आई है, जिसमें दोनों भाई कुर्सियों पर बैठे दिखाई दे रहे हैं, और उनके पीछे थाई अधिकारी खड़े हैं। इस तस्वीर ने मामले में मीडिया और आम जनता का ध्यान एक बार फिर खींचा है।
लूथरा ब्रदर्स ने भारत लौटते ही गिरफ्तारी से बचने के लिए दिल्ली की रोहिणी कोर्ट में अग्रिम जमानत याचिका दायर की थी। याचिका में दावा किया गया कि वे जांच में पूर्ण सहयोग करेंगे और जल्द ही मामले की पूरी जानकारी देंगे। लेकिन 11 दिसंबर, 2025 को अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश वंदना ने उनकी याचिका खारिज कर दी। कोर्ट में गोवा सरकार के वकील ने बताया कि लूथरा ब्रदर्स घटना के तुरंत बाद देश छोड़कर भाग गए थे और अब सिर्फ नरमी दिखाने के प्रयास में अग्रिम जमानत की मांग कर रहे हैं।
गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने कहा कि दोनों भाइयों को जल्द से जल्द भारत लाकर कानूनी प्रक्रिया के तहत सजा दिलाई जाएगी। उन्होंने यह भी कहा कि लूथरा ब्रदर्स की वापसी की जिम्मेदारी गोवा पुलिस और सीबीआई की टीम को सौंपी गई है।
भारत में लाने की प्रक्रिया में देरी का मुख्य कारण दोनों भाइयों के पासपोर्ट का रद्द होना है। पासपोर्ट रद्द होने के बाद उन्हें भारतीय एंबेसी से इमरजेंसी ट्रैवल सर्टिफिकेट जारी करना होगा। इसके बाद ही दोनों भाइयों को बैंकॉक ले जाकर भारत भेजा जा सकेगा। यदि यह प्रक्रिया शुक्रवार तक पूरी नहीं होती है, तो शनिवार और रविवार की सरकारी छुट्टियों के कारण और देरी होने की संभावना है।
इस मामले में पुलिस और जांच एजेंसियां लगातार निगरानी बनाए हुए हैं। अधिकारियों का कहना है कि लूथरा ब्रदर्स को न्याय के दायरे में लाने में किसी भी प्रकार की ढील नहीं दी जाएगी। इस घटना के बाद गोवा और देशभर में कानून के प्रति जनता की संवेदनशीलता बढ़ी है।
गौरव और सौरभ लूथरा पर नाइट क्लब अग्निकांड में सीधे तौर पर हत्या और सुरक्षा नियमों के उल्लंघन के गंभीर आरोप हैं। यह मामला मीडिया और आम जनता के लिए लगातार चर्चा का विषय बना हुआ है। लूथरा ब्रदर्स की भारत वापसी और उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की प्रगति पर हर कदम पर नजर रखी जा रही है।

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संजना झा पत्रकारिता के क्षेत्र में 8 वर्षों से अधिक का अनुभव रखती हैं। वर्तमान में वह हिंदी माइक में बतौर असिस्टेंट एडिटर कार्यरत हैं। उन्हें समसामयिक घटनाएँ, राजनीति एवं लाइफस्टाइल जैसे विषयों में गहरी समझ और लेखन का व्यापक अनुभव प्राप्त है। अपनी खोजपरक दृष्टि, तथ्यपरक रिपोर्टिंग और विषयों की गहराई तक पहुंचने की शैली के लिए वह जानी जाती हैं।
ज्वाइनिंग डेट: 16 अगस्त 2025

